रायपुर ।। छत्तीसगढ़ सहायक शिक्षक फेडरेशन ने प्रदेश के 1,09,000 सहायक शिक्षक एलबी/पंचायत संवर्ग के नाम जारी संदेश में कहा है कि राज्य सरकार का बजट पूरी तरह चुनावी बजट है, इसमें आगामी लोकसभा चुनाव के मद्देनजर किसानों को फोकस किया गया है। कर्मचारियों, विशेषकर शिक्षाकर्मियों के लिए यह बजट अत्यंत निराशाजनक है। लेकिन हमें हताश व निराश होने की जरूरत नहीं है। आने वाले दिनों में हम फिर से, नए सिरे से संगठित होंगें। एकजुट होकर, एक नई रणनीति के साथ लड़ेंगे तथा अपना हक व अधिकार लेकर रहेंगे।
“छत्तीसगढ़ सहायक शिक्षक फेडरेशन” के प्रांतीय संयोजक जाकेश साहू, शिव सारथी, मनीष मिश्रा, रंजित बनर्जी, छोटेलाल साहू, संकीर्तन नंद, अश्वनी कुर्रे, हुलेश चन्द्राकर, बसंत कौशिक, सी.डी.भट्ट, अजय गुप्ता एवं सुखनंदन यादव ने समस्त प्रिंट एवं इलेक्ट्रॉनिक मीडिया को जारी संयुक्त बयान में कहा है कि राज्य सरकार के बजट से हमें पूरी उम्मीद थी कि इसमें शिक्षाकर्मी वर्ग 03 के लिए कुछ न कुछ जरूर होगा, परन्तु हमारे लिए इस बजट में कुछ भी प्रावधान नहीं होने से हमें जरूर निराशा हुई है।
फेडरेशन के प्रांतीय संयोजक मण्डल ने प्रदेशभर के समस्त 1,09,000 शिक्षाकर्मी वर्ग 03 के साथियों से कहा है कि हमें निराश व हतास होने की जरूरत नहीं है। वेतन विसंगति, क्रमोन्नति, वर्ष बन्धन एवं अनुकम्पा नियुक्ति हमारा अधिकार है इसे हम लेकर रहेंगे। अब हम नए सिरे से संगठित होंगे, फेडरेशन को और अत्यधिक मजबूत करेंगे, तथा आने वाले समय मे अपनी चार सूत्रीय मांगों को लेकर, एक बेहतर रणनीति के साथ नए सिरे से लड़ाई की सुरुवात करेंगे।
फिलहाल प्रदेश के सभी पांचो संभागों के अंतर्गत 27 जिलों, 146 विकासखण्डों एवं सभी विकासखण्डों के तहत समस्त संकुलों में फेडरेशन का पुनर्गठन किया जाएगा। सदस्यता अभियान को गति दी जाएगी। स्थानीय समस्याओं के समाधान के लिए सभी संकुलों, ब्लाको व जिलों मे बैठक कर समस्याओं को लिपीबद्ध करके सम्बंधित उच्चाधिकारियों को अवगत कराया जाएगा।
फेडरेशन संयोजक मण्डल ने कहा कि विधानसभा चुनाव के पूर्व हमने विसंगति युक्त संविलियन के विरोध में अपने अधिकारों व चार सूत्रीय मांगों को लेकर तत्कालीन रमन सिंह सरकार का जबर्दस्त विरोध किया था। हमने राज्य में तख्तापलट का ऐलान किया था और किया भी। चूंकि कांग्रेस ने अपने जनघोषणा पत्र में हमारी मांगो को शामिल किया गया है इसलिए हमें पूरी उम्मीद थी कि हमारे लिए बजट में कुछ न कुछ जरूर होगा पर बजट में हमारे लिए कुछ भी नहीं होने से हमें बहोत दुख हुआ।
जीवन मे संघर्ष कभी खत्म नहीं होता, जीवनभर संघर्ष जारी रहता है। फेडरेशन अपनी चार सूत्रीय मांगों की पूर्ति कराने हेतु संकल्पबद्ध है। फेडरेशन का आंदोलन अभी खत्म नहीं हुआ है। फिलहाल संगठन को मजबूत किया जाएगा।