दोहरे स्नातक के समर्थन में आगे आया शालेय शिक्षक संघ….दोहरे स्नातक को लेकर शिक्षामंत्री से मिला शालेय शिक्षक संघ , मंत्री ने जल्द समस्या के निराकरण की कही बात…..पदोन्नति को लेकर प्रमुख सचिव एवं संचालक से भी होगी आज मुलाकात: वीरेंद्र दुबे

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रायपुर: राज्य शासन द्वारा प्राथमिक शाला प्रधानपाठक, शिक्षक,माध्यमिक शाला प्रधानपाठक व्यख्याता पदों पर पदोन्नति हेतु तीन वर्ष का एक बार की छूट प्रदान की गई है , इसके बाद सभी संभागों एवं जिलों में पदोन्नति की प्रक्रिया आरंभ है,
पदोन्नति प्रकिया में प्रदेश भर से एक रूपता नही होने तथा अलग अलग नियमों से पदोन्नति प्रक्रिया सम्पन्न करने के कारण लगातार शिकायतें प्राप्त हो राहींहै इस तारतम्य में शालेय शिक्षक संघ का एक प्रतिनिधि मंडल शिक्षा मंत्री एवं शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव से भेंट करके समस्याओं के त्वरित समाधान करने की मांग करेंगे।
प्रदेश अध्यक्ष वीरेंद्र दुबे ने बताया कि राज्य में कला संकाय के शिक्षक बहुतायत में उपलब्ध हैं. जबकि अंग्रेजी साहित्य गणित व विज्ञान विषयों के पर्याप्त शिक्षक राज्य में उपलब्ध नहीं है, और अधिकतर उच्च प्राथमिक शालायें इन विषय शिक्षकों की कमी को झेल रहे हैं, दूसरी ओर कला संकाय के कुछ स्नातक-शिक्षक दोहरे स्नातक के रूप में अपनी योग्यता बढ़ाने के उद्देश्य से अंग्रेजी साहित्य, विज्ञान या गणित जैसे विषयों में स्नातक कर चुके हैं. लेकिन इन को मान्यता देने के संबंध में अलग-अलग जिलों एवं संभाग में अलग अलग नीति अपनाई जा रही है. इस संदर्भ में राज्य शासन का कोई स्पष्ट निर्देश नहीं है.
प्रांतीय महासचिव धर्मेश शर्मा एवं चंद्रशेखर तिवारी ने बताया कि दोहरे स्नातक उपाधि प्राप्त शिक्षकों को पदोन्नति के लिए कम से कम एक उपाधि के चयन का विकल्प दिया जाए. ताकि अंग्रेजी साहित्य, गणित और विज्ञान जैसे विषयों के शिक्षकों को पदोन्नति का अवसर मिल सके और विद्यालयों को इन विषयों के पर्याप्त शिक्षक मिल सके. ऐसी नीति अपनाने से एक तरफ दोहरे स्नातक वाले शिक्षकों को पदोन्नति का अवसर मिलेगा, पर कला संकाय वाले शिक्षकों को किसी भी प्रकार की क्षति नहीं होगी. यदि इन शिक्षकों के द्वितीय स्नातक उपाधि को मान्य नहीं किया गया तो वे कला संकाय में ही बने रहेंगे. और कला संकाय के शिक्षकों के रूप में पदोन्नति की पात्रता होगी. जिसमें पूर्व से ही कला विषय के बहुतायत शिक्षक उपलब्ध हैं तथा वे बरसों से पदोन्नति की बाट जो रहे हैं, वे पदोन्नति से हमेशा वंचित हो सकते है.
प्रदेश अध्यक्ष वीरेंद्र दुबे ने दोहरे स्नातक , स्थानांतरित शिक्षको की वरिष्टता, ग्रंथपाल में पदोन्नति एवं व्याख्याता के पदों पर पदोन्नति के साथ साथ, बीएड एवं ब्रिज कोर्स किये शिक्षको को प्राथमिक प्रधान पाठक एवं शिक्षक के पदों में प्राथमिकता देने आदि सभी मामलो का निराकरण की मांग करते हुए सम्बंधित अधिकारियों को अविलम्ब निर्देशित करने की बात कही है..

संगठन की ओर से मांग करने वालो में प्रांतीय कार्यकारी अध्यक्ष चंद्रशेखर तिवारी,प्रांतीय उपाध्यक्ष सुनील सिंह,डॉ.सांत्वना ठाकुर,विष्णु शर्मा,सहसचिव सत्येंद्र सिंह,सन्गठन मंत्री विवेक शर्मा,प्रदेश प्रवक्ता गजराज सिंह,जितेंद्र गजेंद्र,अतुल अवस्थी, राजेश शर्मा,घनश्याम पटेल,अजय वर्मा, जिलाध्यक्षगण प्रहलाद जैन,शिवेंद्र चंद्रवंशी, सन्तोष मिश्रा,दिनेश राजपूत, कुलदीप सिंह,शैलेष सिंह, प्रदीप पांडेय, रवि मिश्रा, संतोष शुक्ला, विनय सिंह, हिमन कोर्राम, दीपक वेंताल, भोजराज पटेल,भानु प्रताप डहरिया,यादवेंद्र दुबे, जितेंद्र शर्मा,उपेंद्र सिंह,जोगेंद्र यादव,विनय सिंह, सर्वजीत पाठक, ओमप्रकाश खैरवार,कैलाश रामटेके,कृष्णराज पांडेय,सुशील शर्मा,करनैल सिंह,श्री मती शशि कठोलिया,अब्दुल आसिफ खान,विक्रम राजपूत गौतम शर्मा,दिनेश साहू आदि प्रांतीय,जिला व ब्लाक पदाधिकारियों ने की है।

 

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